भारतीय क्रिकेट टीम के तेज गेंदबाज जसप्रीत बुमराह को आईसीसी ने साल 2024 का सर्वश्रेष्ठ पुरुष क्रिकेटर घोषित किया है। बुमराह को यह प्रतिष्ठित सर गारफील्ड सोबर्स अवॉर्ड उनके शानदार प्रदर्शन और क्रिकेट में दिए गए योगदान के लिए प्रदान किया गया। यह अवॉर्ड पाने वाले वे भारत के पांचवें खिलाड़ी बन गए हैं। उनसे पहले यह सम्मान राहुल द्रविड़ (2004), सचिन तेंदुलकर (2010), रविचंद्रन अश्विन (2016), और विराट कोहली (2017, 2018) ने जीता था।
2024: बुमराह के प्रदर्शन का स्वर्णिम वर्ष
जसप्रीत बुमराह का साल 2024 क्रिकेट के हर फॉर्मेट में बेहतरीन प्रदर्शन से भरा रहा। उन्होंने टेस्ट क्रिकेट में 13 मैचों में 14.92 की औसत और 30.16 के स्ट्राइक रेट से कुल 71 विकेट चटकाए। यह प्रदर्शन टेस्ट क्रिकेट के इतिहास में किसी भी गेंदबाज का सर्वश्रेष्ठ है। उन्होंने मुश्किल परिस्थितियों में, चाहे वह दक्षिण अफ्रीका और ऑस्ट्रेलिया के तेज पिच हों या भारत की धीमी और स्पिन फ्रेंडली विकेट्स, हर जगह अपनी गेंदबाजी से विरोधियों को परेशान किया।
भारत के ऑस्ट्रेलिया दौरे पर बुमराह का प्रदर्शन और भी प्रभावशाली रहा। उन्होंने अपनी विविधतापूर्ण गेंदबाजी से ऑस्ट्रेलियाई बल्लेबाजों को क्रीज पर टिकने नहीं दिया और भारत को टेस्ट सीरीज जीतने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई।
टी20 विश्व कप 2024 में बुमराह का जलवा
साल 2024 का टी20 विश्व कप भारतीय टीम के लिए खास रहा, और इस सफर में जसप्रीत बुमराह का प्रदर्शन अभूतपूर्व था। उन्होंने टूर्नामेंट में कुल 15 विकेट लिए, जिनका औसत 8.26 रहा। फाइनल मुकाबले में भारत ने दक्षिण अफ्रीका को हराकर खिताब जीता, जिसमें बुमराह का योगदान निर्णायक साबित हुआ। उन्हें टूर्नामेंट के ‘प्लेयर ऑफ द टूर्नामेंट’ के खिताब से भी नवाजा गया।
बुमराह ने अपनी प्रतिक्रिया में कहा, “टी20 विश्व कप 2024 मेरे दिल के बेहद करीब है। सर गारफील्ड सोबर्स पुरुष क्रिकेटर ऑफ द ईयर अवॉर्ड जीतना मेरे लिए गर्व की बात है। यह साल मेरे करियर का सबसे यादगार समय रहा। जब मैं छोटा था, तब कई दिग्गज खिलाड़ियों को आईसीसी अवॉर्ड जीतते देखा था। आज खुद इस पुरस्कार को पाना मेरे लिए एक सपने के सच होने जैसा है।”
आईसीसी रैंकिंग में ऐतिहासिक उपलब्धि
आईसीसी ने बताया कि 2024 में बुमराह ने अपनी गेंदबाजी से विरोधी टीमों पर दबाव बनाए रखा। उनकी शानदार गेंदबाजी का प्रभाव आईसीसी टेस्ट गेंदबाजों की रैंकिंग में भी दिखा, जहां उन्होंने 900 अंकों का आंकड़ा पार कर लिया। साल के अंत में उनके नाम 907 अंक दर्ज हुए, जो रैंकिंग के इतिहास में किसी भी भारतीय गेंदबाज के लिए सर्वाधिक है।
अन्य दावेदारों को पीछे छोड़ा
बुमराह को यह अवॉर्ड ऑस्ट्रेलिया के ट्रेविस हेड, इंग्लैंड के जो रूट और हैरी ब्रूक जैसे दिग्गज खिलाड़ियों को पीछे छोड़ते हुए मिला। इन सभी का प्रदर्शन भी शानदार रहा था, लेकिन बुमराह के योगदान और उनके प्रभावशाली आंकड़ों ने उन्हें सबसे अलग कर दिया।
चोट और बुमराह की वापसी की चुनौती
हालांकि, बुमराह को साल के अंत में चोट की समस्या का सामना करना पड़ा। ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ बॉर्डर-गावस्कर ट्रॉफी के पांचवें टेस्ट के दौरान उनकी पीठ में दर्द हुआ, जिसके चलते वे इंग्लैंड के खिलाफ टी20 सीरीज और वनडे सीरीज के शुरुआती मैचों से बाहर हो गए। उनकी चोट के कारण आगामी चैंपियंस ट्रॉफी में उनका खेलना भी पूरी तरह से फिटनेस पर निर्भर करेगा।
भविष्य की उम्मीदें
जसप्रीत बुमराह की गेंदबाजी भारतीय टीम की ताकत है। उनकी फिटनेस और फॉर्म दोनों का बरकरार रहना टीम के लिए बेहद जरूरी है। 2024 में जिस तरह उन्होंने प्रदर्शन किया, उससे यह साफ हो गया कि बुमराह न सिर्फ भारत के बल्कि विश्व क्रिकेट के सबसे बेहतरीन तेज गेंदबाजों में से एक हैं।
बुमराह का यह अवॉर्ड जीतना भारतीय क्रिकेट के लिए गर्व का पल है और यह उनके करियर की ऊंचाइयों को दर्शाता है। उनके प्रशंसक उम्मीद कर रहे हैं कि वे जल्द ही फिट होकर मैदान पर वापसी करेंगे और अपनी बेहतरीन गेंदबाजी से भारतीय टीम को और जीत दिलाएंगे।
